शुभ मुहूर्त-तिथि-वार देखकर कृषि संबंधी कार्यो की शुरूआत की जाए, तो अपेक्षित परिणाम मिलते हैं।
ज्योतिषशास्त्र में कृषि संबंधी कार्यों के लिए उपयोगी मुहूर्तों का उल्लेख किया गया है। यदि इन मुहूर्तो को घ्यान में रखते हुए कृषि संबंधी कार्य सम्पन्न किए जाएं, तो लाभ की संभावना रहती है।
कर्म महान होता है । परंतु वह सही समय पर किए गए कर्म से ही महान बनता है । इसलिए यदि कोई व्यक्ति अशुभ समय में शुभ कार्य करता है तो उसको उसका उल्टा ही रिजल्ट मिलता है ।अर्थात उसका शुभ कर्म फलीभूत नहीं होता । परंतु अगर कोई व्यक्ति और अशुभ कर्म भी शुभ समय में कर लेता है तो उसको बुराई के बदले भलाई मिलती है ।
वैसे ही अशुभ समय में शुभ कार्य किया गया भी भलाई के बदले बुरा ही जाता है । इसलिए जो भी काम किया जाना है, अगर वह सही समय पर किया जाए तो उसका परिणाम बिल्कुल पॉजिटिव होता है । हमारे द्वारा ध्यान में रखते हुए नीचे कुछ मुहूर्त दिए जा रहे हैं जो उस कार्य से संबंधित विशेष मुहूर्त हैं । इन मुहूर्तों में किए गए कार्य अवश्य ही सुख प्रदायक होंगे और इसका रिजल्ट भी बहुत अच्छा मिलेगा ।
शुभ मुहूर्त निर्धारण में वर्जित योग
- जन्म नक्षत्र, जन्म तिथि, जन्म मास, माता-पिता की मृत्यु के दिन आदि।
- क्षय तिथियां, वृद्धि तिथियां, क्षय मास, अधिमास, क्षय वर्ष, दग्ध तिथियां आदि।
ग्राह्य तिथियाँ:- 2, 3, 5, 7, 8, 11, 12, 13 (शुक्ल), 15
ग्राह्य वार:- सोमवार, बुधवार, गुरुवार, शुक्रवार ।
ग्राह्य नक्षत्र:- अश्विनी, रोहिणी, मृगशिरा, पुष्य, पुनर्वसु, उत्तराफाल्गुनी, उत्तराषाढ़ा, उत्तराभाद्रपद, हस्त, चित्रा , स्वाती ,अनुराधा, मूल , श्रवण ,धनिष्ठा, शतभिषा तथा रेवती ।
Shubh Muhurat For Storage Of Food Grain
हमारे द्वारा यहां कुछ विशेष मुहूर्त दिए गए हैं यदि आप स्वयं के लिए किसी विशेष दिन का मुहूर्त चाहते हैं तो संपर्क करें
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